09/04/2024
अमरीका बड़ी बेशर्मी से युद्ध विराम के प्रस्ताव को बार बार वीटो करता है। ये पश्चिमी सभ्यता का अस्ल स्वभाव है। इमाम ख़ामेनेई 24/02/2024
22/03/2024
हालिया कुछ महीनों में रेज़िस्टेंस ने अपनी ताक़त का प्रदर्शन किया और अमरीका के समीकरण बिगाड़ दिए। अमरीका इस इलाक़े में, इराक़, सीरिया, लेबनान वग़ैरा पर नियंत्रण चाहता था, रेज़िस्टेंस ने दिखा दिया कि यह संभव नहीं है, अमरीकियों को इस इलाक़े से जाना पड़ेगा। इमाम ख़ामेनेई  20 मार्च 2024
07/03/2024
एक क़ौम अपनी सरज़मीन में अत्याचारों का निशाना बनती है, उनकी औरतें, उनके बच्चे, उनके मकानात बेरहमी से मिटाए जाते हैं और कुछ देश रोकना तो दरकिनार इसमें सहयोग करते हैं। अमरीका, ब्रिटेन और कुछ यूरोपीय देश। हम इसके विरोधी हैं। इमाम ख़ामेनेई  7 मार्च 2024
17/11/2023
ग़ज़ा के अवाम ने अपने सब्र से पूरी इंसानियत के ज़मीर को झिंझोड़ दिया। यहां तक कि ब्रिटेन, फ़्रांस और अमरीका में जनसैलाब निकलता है और इस्राईल के ख़िलाफ़ और अमरीकी सरकार के ख़िलाफ़ नारे लगाता है। इमाम ख़ामेनेई  
04/11/2023
अगर अमरीका का सपोर्ट न होता, अगर अमरीका की ओर से हथियारों की मदद न मिलती तो ज़ायोनी सरकार, पहले हफ़्ते में ही ख़त्म हो जाती, गिर जाती। इमाम ख़ामेनेई
28/10/2023
इन दिनों जो नीतियां चल रही हैं, यानी हालिया हफ़्ते में ज़ायोनी सरकार के भीतर जो नीति चल रही है, उसे अमरीकी तय कर रहे हैं, मतलब यह कि पॉलिसी मेकर वो हैं और जो यह काम हो रहे हैं, वो अमरीकियों की नीतियों के तहत हैं। इमाम ख़ामेनेई  17 अक्तूबर 2023
07/04/2023
ओबामा का अमरीका बुश के अमरीका से कमज़ोर था। ट्रम्प का अमरीका ओबामा के अमरीका से ज़्यादा कमज़ोर था। बाइडन का अमरीका ट्रम्प के अमरीका से भी ज़्यादा कमज़ोर है।  इमाम ख़ामेनेई 4 अप्रैल 2023
05/04/2023
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने मंगलवार की शाम तेहरान में मुल्क के आला अधिकारियों से मुलाक़ात की। इस मुलाक़ात में उन्होंने दुनिया में राजनैतिक बदलाव को बहुत तेज़ और साथ ही इसको इस्लामी गणराज्य के दुश्मनों के मोर्चे को कमज़ोर करने वाला बताया और कहा कि इस मौक़े से फ़ायदा उठाने के लिए हमें अपनी विदेश नीति को और सरगर्म करना चाहिए और नई पहल करना चाहिए।
05/04/2023
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने मंगलवार की शाम तेहरान में मुल्क के आला अधिकारियों से मुलाक़ात की। इस मुलाक़ात में उन्होंने दुनिया में राजनैतिक बदलाव को बहुत तेज़ और साथ ही इसको इस्लामी गणराज्य के दुश्मनों के मोर्चे को कमज़ोर करने वाला बताया और कहा कि इस मौक़े से फ़ायदा उठाने के लिए हमें अपनी विदेश नीति को और सरगर्म करना चाहिए और नई पहल करना चाहिए।
05/04/2023
हम क्यों कह रहे हैं कि अमरीका कमज़ोर हो गया? 1. अमरीका भीतर से दो धड़ों में विभाजित है। 2. अमरीका ज़ायोनी हुकूमत का राजनैतिक संकट हल न कर सका।  3. अमरीका ईरान विरोधी संयुक्त अरब मोर्चा बनाने की कोशिश में था मगर इसका उल्टा हो रहा है।  इमाम ख़ामेनेई 4 अप्रैल 2023
05/04/2023
अमरीका के भीतर दो तीन साल पहले इलेक्शन के मसले पर दो धड़े बन गए थे। यह विभाजन आज भी पूरी शिद्दत से बाक़ी है, यह कमज़ोरी ही तो है! यह बहुत अहम बात है।
05/04/2023
हम प्रतिरोध के मोर्चे के प्रति सपोर्ट का खुल कर एलान करते हैं और युक्रेन जंग में शिरकत के दावे को रद्द करते हैं।
06/02/2023
हमारे मुल्क में साम्राज्यवादी ताक़तों यानी पहले ब्रिटेन और फिर अमरीका का सबसे अहम मोर्चा, उनकी एजेन्ट सरकश हुकूमत थी। उनके ज़रिए क़ायम होने वाली सरकश हुकूमत उनके मोर्चे का काम करती थी। इंक़ेलाब आया तो उसने इस मोर्चे को ध्वस्त कर दिया, ख़त्म कर दिया, ढा दिया।
20/12/2022
अमरीका से हमारे मसलों को एक चीज़ हल कर सकती है और वह है...
13/11/2022
सुप्रीम लीडर आयतुल्लाह ख़ामेनेई ने स्कूली बच्चों से मुलाक़ात में, अमरीका के पतन और तबाही की शुरुआत का ज़िक्र करते हुए कहा था कि “दुनिया के बहुत से एक्सपर्ट्स का मानना है कि अमरीका पतन और तबाही की ओर बढ़ रहा है, वह बूंद बूंद पिघल रहा है। यह बात हम नहीं कह रहे हालांकि हमारा भी यही ख़्याल है लेकिन पूरी दुनिया के एक्सपर्ट्स यह बात कह रहे हैं।”  इस सिलसिले में KHAMENEI.IR  वेब साइट ने अमरीका और इन्टरनेशनल अफ़ेयर्स के एक्सपर्ट जनाब हमीद रज़ा ग़ुलामज़ादे का एक आर्टिकल छापा है जिसमें अमरीका के चढ़ते और ढलते सूरज का जायज़ा लिया गया है।
13/11/2022
आप अमरीकियों ने 2009 के हंगामों में शामिल दंगाइयों का खुलकर साथ दिया। इससे पहले ओबामा ने मुझे ख़त लिखा था कि हम आप से सहयोग करना चाहते हैं, हम आपके दोस्त हैं। लेकिन जैसे ही 2009 के हंगामे शुरू हुए उन्होंने दंगाइयों का समर्थन शुरू कर दिया। इस उम्मीद पर कि शायद यह दंगे कामयाब हो जाएं और ईरानी क़ौम को घुटने टेकने पर मजबूर कर दें। इमाम ख़ामेनेई 2 नवम्बर 2022
08/11/2022
अमरीका ने तालेबान को ख़त्म करने के लिए #अफ़ग़ानिस्तान पर हमला किया। फिर बीस साल बाद अफ़ग़ानिस्तान ‎को तालेबान के हवाले करके बाहर निकल गया। इसका क्या मतलब है? यही तो अंदाज़े की ग़लती है। इमाम ख़ामेनेई 2 नवम्बर 2022
07/11/2022
ज़्यादातर राजनैतिक टीकाकारों का मानना है कि अमरीका पतन की ओर जा रहा है।
16/10/2022
अमरीका ताक़तवर ईरान का विरोधी है, इंडिपेंडेंट ईरान का विरोधी है। उन्हें इस्लामी जुमहूरिया से गहरी दुश्मनी है। इसमें कोई शक ही नहीं लेकिन इस्लामी जुमहूरिया के अलावा ख़ुद ताक़तवर ईरान के भी ख़िलाफ़ हैं, उस ईरान के ख़िलाफ़ हैं जो इंडिपेंडेंट हो। उन्हें पहलवी हुकूमत के दौर का ईरान पसंद है जो दूध देने वाली गाय हो। उनके हुक्म का पाबंद हो। मुल्क का बादशाह हर फ़ैसले के लिए ब्रिटेन और अमरीका के राजदूत की रज़मंदी लेने पर मजबूर हो। इमाम ख़ामेनेई 3 अकतूबर 2022
04/09/2022
शिया सुन्नी की जंग, अरब व ग़ैर अरब की जंग, कभी शियों की शियों से और सुन्नियों की सुन्नियों से जंग, यह इम्पीरियल ताक़तों का काम  है, यह अमरीका का काम है। इसकी ओर से होशियार रहने की ज़रूरत है।
28/04/2022
क़ुद्स शरीफ़ के मुद्दे पर मुसलमानों में सहयोग और समन्वय से ज़ायोनी दुश्मन और उसके समर्थक ‎अमरीका और यूरोप घबराए हुए हैं। सेंचुरी डील की नाकामी और उसके बाद क़ाबिज़ ज़ायोनी सरकार ‎के साथ कुछ कमज़ोर अरब सरकारों के रिश्ते, इस दहशत से फ़रार की नाकाम कोशिश है। इमाम ख़ामेनेई 7 मई सन 2021‎
27/04/2022
अल्लाह की याद गिड़गिड़ा कर और डर की हालत में करना चाहिए। इस तरह से उसे याद करना तमाम बरकतों की अस्ल है। 
27/04/2022
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने बल देकर कहा कि इस्लामी क्रांति ने यूनिवर्सिटी के लिए जो बड़ा काम किया वह यह था कि उसने ईरानी क़ौम को पहचान देकर यूनिवर्सिटी को उसकी पहचान दी। क्रांति से क़ौम को पहचान, आदर्श होने और स्वावलंबन का ज़ज़्बा दिया और उसके सामने क्षितिज को स्पष्ट किया।
26/04/2022
इस्लामी क्रांति के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई से युनिवर्सिटियों के छात्रों और छात्र युनियनों के प्रतिनिधियों ने इमाम ख़ुमेनी इमाम बारगाह में तफ़सीली मुलाक़ात और अलग अलग विषयों पर खुलकर अपनी राय रखी। 26 अप्रैल 2022 की इस मुलाक़ात में सुप्रीम लीडर ने छात्रों के सवालों के जवाब दिए, कुछ सिफ़ारिशें कीं और प्रमुख राष्ट्रीय, क्षेत्रीय और अंतर्राष्ट्रीय मुद्दों पर अपनी नीतिगत बात पेश की। सुप्रीम लीडर की स्पीचः
13/04/2022
ईरान की इस्लामी लोकतांत्रिक शासन व्यवस्था के शीर्ष पदाधिकारियों ने मंगलवार 12 अप्रैल 2022 को इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई से मुलाक़ात की। इस अवसर अपने संबोधन में आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने देश के सभी मसलों को हल होने के लायक़ बताते हुए इस साल के नारे के अनेक आयामों को बयान किया।
21/03/2022
नए हिजरी शम्सी साल के आग़ाज़ के उपलक्ष्य में इस्लामी इंक़ेलाब के नेता की स्पीच के महत्वपूर्ण बिंदुः
21/03/2022
सुप्रीम लीडर आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने नए ईरानी साल 1401 के पहले दिन अपनी लाइव स्पीच में ईदे नौरोज़ और नई हिजरी शम्सी सदी के आग़ाज़ की मुबारकबाद दी। उन्होंने नए साल के नारे की व्याख्या में, ग़रीबी की मुश्किल के हल और सामाजिक इंसाफ़ के साथ आर्थिक तरक़्क़ी हासिल करने का रास्ता नॉलेज बेस्ड अर्थव्यवस्था की ओर हरकत को बताया।
21/03/2022
इस्लामी क्रांति के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने नए हिजरी शम्सी साल 1401 (21/3/2022-20/3/2023) के आग़ाज़ पर देश को संबोधित किया। टीवी चैनलों से लाइव टेलीकास्ट होने वाली इस पालीसी स्पीच में सुप्रीम लीडर ने अर्थ व्यवस्था के संदर्भ में बेहद महत्वपूर्ण बिंदुओं पर प्रकाश डाल और साथ ही क्षेत्रीय और अंतर्राष्ट्रीय हालात का भी जायज़ा लिया।
16/03/2022
कुछ लोग अपने ग़ैर पुख़्ता और ग़लत प्रस्तावों से देश की #राष्ट्रीय_ताक़त के कुछ बाज़ुओं को काट देना चाहते थे। अगर यह होने दिया जाता तो आज #ईरान को बहुत बड़े ख़तरों का सामना करना पड़ता मगर अल्लाह के इरादे और इनायत से इन प्रस्तावों पर अमल करने की संभावना ही ख़त्म हो गई। इमाम ख़ामेनेई 10 मार्च 2022
15/03/2022
#पाबंदियों की मार से बचने के लिए #अमरीका या किसी भी ताक़त से दब जाना बहुत बड़ी भूल और अपनी सियासी ताक़त पर वार है। इससे ज़्यादा बचकाना और नासमझी वाला कोई प्रस्ताव नहीं हो सकता कि दुश्मन को ग़ुस्सा दिलाने से बचने के लिए हमें अपनी रक्षा शक्ति सीमित कर देनी चाहिए। इमाम ख़ामेनेई 10 मार्च 2022
14/03/2022
क्षेत्रीय रोल को ख़त्म या न्युक्लियर मैदान में साइंसी प्रगति को रोक देने का प्रस्ताव हमारी राष्ट्रीय ताक़त पर वार है। क्षेत्रीय रोल हमें स्ट्रैटेजिक गहराई और अधिक राष्ट्रीय ताक़त प्रदान करता है और एटमी मैदान में साइंसी प्रगति भविष्य में मुल्क को पेश आने वाली ज़रूरत को पूरा करने का ज़रिया है। इमाम ख़ामेनेई 10 मार्च 2022
12/03/2022
इस्लामी इंक़ेलाब के लीडर आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई ने 12 मार्च 2022 को असेंबली ऑफ़ एक्सपर्ट्स के मेंबरों के बीच बड़ा अहम ख़िताब किया। सुप्रीम लीडर ने अपने संबोधन में ताज़ा हालात की चर्चा की। (1) आयतुल्लाह ख़ामेनेई की स्पीच पेश हैः
10/03/2022
एसेंब्ली ऑफ़ एक्सपर्ट्स के मेंबरों ने सुप्रीम लीडर आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई से आज तेहरान में मुलाक़ात की।
09/03/2022
आज दुनिया में माडर्न जाहेलियत, भेदभाव, ज़ुल्म और संकट को जन्म देने की तसवीर अमरीका है। दरअस्ल अमरीकी सरकार संकटजनक और संकटजीवी सरकार है जो दुनिया भर में तरह तरह के संकटों से अपनी आजीविका हासिल करती है। #यूक्रेन इसी सियासत की भेंट चढ़ गया। इमाम ख़ामेनेई 1 मार्च 2022
09/03/2022
अमरीका माफ़ियाई सरकार है। सियासी माफ़िया, आर्थिक माफ़िया वग़ैरा के हाथ में बागडोर है जो राष्ट्रपतियों को सत्ता में लाते हैं। वे दुनिया में संकट पैदा करते हैं ताकि ज़्यादा फ़ायदा हासिल करें: दाइश का मसला, यूक्रेन संकट। वे सीरिया का तेल चुराते हैं, अफ़ग़ान अवाम का पैसा चोरी करते हैं। इमाम ख़ामेनेई 1 मार्च 2022
07/03/2022
अमरीका ने #यूक्रेन को इस हालत में पहुंचाया है। अमरीका ने इस मुल्क के आंतरिक मामलों में हस्तक्षेप करके, रंगीन विद्रोह करवाकर, एक सरकार को हटाने और दूसरी को सत्ता में लाने का सिलसिला शुरू करके यूक्रेन की यह हालत कर दी। इमाम ख़ामेनेई 1 मार्च 2022
07/03/2022
यूक्रेन के हालात से दो सबक़ मिलते हैं: जो सरकारें अमरीका और यूरोप से मदद की आस लगाए बैठी हैं जान लें कि यह मदद फ़रेब है हक़ीक़त नहीं। आज #यूक्रेन कल #अफ़ग़ानिस्तान। दोनों मुल्कों के राष्ट्रपतियों ने कहा कि हमने अमरीका और पश्चिम पर भरोसा किया और उन्होंने हमें बेसहारा छोड़ दिया। इमाम ख़ामेनेई 1 मार्च 2022
ताज़ातरीन