अज़ादारों के साथ रहबरे इंक़ेलाब आयतुल्लाह ख़ामेनेई भी मजलिस में शरीक हुए। 
हुज्जतुल इस्लाम वल मुसलेमीन नासिर रफ़ीई ने मजलिस से ख़ेताब किया और हज़रत ज़हरा के हवाले से एक रिवायत बयान की और समाज में इमाम और वलीए ख़ुदा के किरदार और इमाम के समर्थन के सिलसिले में अवाम के फ़रीज़े पर रौशनी डाली। 
जनाब मीसम मुतीई ने मरसिया और नौहा ख़्वानी की।