ताक़तवर ईरान ही अपनी रक्षा कर सकता है, अपनी सुरक्षा व तरक़्क़ी को सुनिश्चित कर सकता है और इस तरक़्क़ी और ताक़त से दूसरों का भी भला कर सकता है।