यह क़ाबिज़ (ज़ायोनी) सरकार कुछ भी हो मज़लूम तो हरगिज़ नहीं है। यह ज़ालिम है, हमलावर है, जाहिल है, उल्टी बातें करने वाली है, यह सब है, मज़लूम नहीं है, ज़ालिम है। इमाम ख़ामेनेई 3 अक्तूबर 2023
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