इमाम ख़ुमैनी के आख़िरी लम्हे - आयतुल्लाह ख़ामेनेई  की ज़बानी

इमाम ख़ुमैनी, कोमा में जाने से पहले तक सुबहानल्लाहे वलहम्दो लिल्लाहे व ला इलाहा इल्लल्लाहो वल्लाहो अकबर पढ़ते रहे।