अल्लाह, जनाब रईसी के दर्जे बुलंद करे इंशाअल्लाह। मैं जितना भी सोचता हूँ, ख़ुद मेरे लिए भी, मुल्क के लिए भी और ख़ास तौर पर उनकी फ़ैमिली के लिए भी इस नुक़सान की भरपाई ना मुमकिन नज़र आती है। यानी बहुत बड़ा नुक़सान है जिसकी भरपाई नहीं हो सकती, वाक़ई बहुत सख़्त है, बहुत बड़ा सदमा है। हमें उम्मीद है कि इंशाअल्लाह, अल्लाह उनके दर्जे बुलंद करे और आप लोगों को भी सब्र दे। मुसीबत जितनी सख़्त और बड़ी होती है, अल्लाह का अज्र भी उसी की तुलना में बड़ा और मीठा होता है, इंशाअल्लाह।
राष्ट्रपति का बहुत अज़ीम जुलूसे जनाज़ा इस्लामी जम्हूरिया के पक्ष में एक संदेश रखता था जिससे इस्लामी जम्हूरिया के जनाधार और ताक़त की तस्वीर सामने आई, वह ताक़त जो समाज के अंदर और ईरानी राष्ट्र की गहराइयों में फैली हुई है।
(राष्ट्रपति के हेलीकाप्टर की) दुर्घटना हो जाने के बाद अवाम की तरफ़ से मुहब्बत और श्रद्धा का इज़हार और उनकी सलामती के लिए दुआएं इस्लामी इंक़ेलाब और इस्लामी इंक़ेलाब के नारों से अवाम के दिली लगाव की निशानी है।
शहीद राष्ट्रपति और उनके सम्मानीय साथियों को श्रद्धांजलि पेश करने के लिए इस्लामी इंक़ेलाब के नेता की मौजूदगी में तेहरान के इमाम ख़ुमैनी इमामबाड़े में मजलिस हो रही है।
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता ने शनिवार की सुबह ख़िदमत गुज़ार शहीदों के घर वालों से मुलाक़ात में अवाम के लिए काम, अवाम की सेवा और अवाम के प्रति हमदर्दी को इन शहीदों की सबसे नुमायां ख़ुसूसियतें बतायीं।
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा सैयद अली ख़ामेनेई ने शनिवार की सुबह ख़िदमत गुज़ार शहीदों के घर वालों से मुलाक़ात में अवाम के लिए काम, अवाम की सेवा और अवाम के प्रति हमदर्दी को इन शहीदों की सबसे नुमायां ख़ुसूसियतें बताया और कहा कि मरहूम शहीद रईसी के लिए दिन रात का कोई मतलब नहीं था, वह सही मानी में अथक थे।
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा सैयद अली ख़ामेनेई ने बुधवार 22 मई 2024 की रात मरहूम राष्ट्रपति हुज्जतुल इस्लाम वल मुस्लेमीन डॉक्टर सैयद इब्राहीम रईसी के घर पहुंचकर उनके घरवालों से मुलाक़ात की। इस मौक़े पर उन्होंने मरहूम राष्ट्रपति को इस्लामी इंक़ेलाब के नारों की मिसाल क़रार दिया और अवाम की ओर से उनके सिलसिले में श्रद्धा के इज़हार को इस्लामी गणराज्य के हक़ में दुनिया के लिए एक पैग़ाम बताया।
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा सैयद अली ख़ामेनेई ने बुधवार की शाम लेबनान के संसद सभापति नबीह बेर्री से मुलाक़ात में इस दुर्घटना पर लेबनानी सरकार और क़ौम की ओर से संवेदना व हमदर्दी के इज़हार पर शुक्रिया अदा किया और कहा कि लेबनान में आम शोक का एलान, दोनों मुल्कों की ज़बरदस्त समरसता को चित्रित करता है और अपने लेबनानी भाइयों और जनाब हसन नसरुल्लाह साहब से हम अपने संबंध को रिश्तेदारी और बंधुत्व का संबंध समझते हैं।
आपको सलाम कि दुनिया की सबसे ज़्यादा हथियारों से लैस सेनाओं में से एक और धरती के सबसे घटिया लोगों के मुक़ाबले में आज अपकी दृढ़ता ने हमें, प्रतिरोध का अर्थ समझाया।
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा इमाम ख़ामेनेई की इमामत में बुधवार 22 मई 2024 को तेहरान यूनिवर्सिटी में इस्लामी गणराज्य के मरहूम राष्ट्रपति सैयद इब्राहीम रईसी और उनके सम्मानीय साथियों की नमाज़े जनाज़ा अदा की गयी।
राष्ट्रपति हुज्जतुल इस्लाम वल मुस्लेमीन रईसी और उनके साथियों की शहादत जैसी मौत के बाद इराक़ी प्रधान मंत्री मोहम्मद शिया अस्सूदानी ने बुधवार 22 मई 2024 को इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई से तेहारन में मुलाक़ात की।
आर्मीनिया के प्रधान मंत्री निकोल पाशीनियान ने बुधवार 22 मई 2024 की सुबह इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई से मुलाक़ात की और राष्ट्रपति रईसी और उनके साथियों की शहादत जैसी मौत पर अपनी सरकार और क़ौम की ओर से दुख, ग़म और हमदर्दी का इज़हार किया।
हमास के पोलित ब्यूरो चीफ़ इस्माईल हनीया ने अपने प्रतिनिधि मंडल के साथ बुधवार 22 मई को दोपहर से पहले इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाह ख़ामेनेई से तेहरान में मुलाक़ात की और उन्हें, ईरानी क़ौम तथा ईरान सरकार को राष्ट्रपति रईसी और उनके साथियों की हेलीकॉप्टर दुर्घटना में हुयी शहादत जैसी मौत पर संवेदना पेश की।
राष्ट्रपति हुज्जतुल इस्लाम वल मुस्लेमीन सैयद इब्राहीम रईसी और हेलीकॉप्टर दुर्घटना में दूसरे शहीदों की नमाज़े जनाज़ा इस्लामी इंक़ेलाब के नेता की इमामत में अदा की गयी।
मरहूम राष्ट्रपति हुज्जतुल इस्लाम वल मुस्लेमीन रईसी और उनके साथियों की शहादत जैसी मौत के बाद इराक़ी प्रधान मंत्री मोहम्मद शिया अस्सूदानी ने बुधवार 22 मई 2024 को इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई से तेहारन में मुलाक़ात की।
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता ने बुधवार की शाम पाकिस्तान के प्रधान मंत्री शहबाज़ शरीफ़ और उनके साथ आए प्रतिनिधिमंडल से मुलाक़ात में बंधु मुल्क पाकिस्तान की सरकार और क़ौम की ओर से संवेदना जताए जाने पर शुक्रिया अदा करते हुए कहा कि इस्लामी गणराज्य ईरान के लिए पाकिस्तान के साथ संबंध की बहुत ज़्यादा अहमियत है और वह पाकिस्तान को बंधु देश की नज़र से देखता है लेकिन पिछले बरसों में दोनों मुल्कों के संबंधों में कुछ उतार चढ़ाव आए हैं और हमारा मानना है कि पाकिस्तान की नई सरकार में इन संबंधों को फिर से ऊंचाई देने की सलाहियत पायी जाती है।
क़तर के शासक शैख़ तमीम बिन हमद बिन ख़लीफ़ा आले सानी ने बुधवार की शाम को इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाह ख़ामेनेई से मुलाक़ात में अपनी सरकार और क़ौम की तरफ़ से राष्ट्रपति, विदेश मंत्री और हेलीकॉप्टर दुर्घटना के शहीदों की शहादत पर आयतुल्लाह ख़ामेनेई और ईरानी क़ौम के प्रति संवेदना जतायी।
लेबनान के पार्लियामेंट स्पीकर नबीह बेर्री और उनके साथ आए प्रतिनिधिमंडल ने बुधवार की शाम इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाह ख़ामेनेई से तेहरान में हुयी मुलाक़ात में, अपनी सरकार और क़ौम के तरफ़ से इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाह ख़ामेनेई और ईरानी क़ौम से राष्ट्रपति, विदेश मंत्री और हेलीकॉप्टर दुर्घटना के दूसरे शहीदों की शहादत पर संवेदना जतायी।
ट्यूनीशिया के राष्ट्रपति क़ैस सईद ने बुधवार की शाम को इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाह ख़ामेनेई से तेहरान में मुलाक़ात में अपनी सरकार और क़ौम की तरफ़ से इस्लामी इंक़ेलाब के नेता और ईरानी क़ौम से मरहूम राष्ट्रपति, विदेश मंत्री और हेलीकॉप्टर दुर्घटना का शिकार होने वाले दूसरे लोगों के निधन पर संवेदना जतायी।
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा सैयद अली ख़ामेनेई ने बुधवार 22 मई 2024 की शाम को क़तर के शासक शैख़ तमीम बिन हमद बिन ख़लीफ़ा आले सानी और उनके साथ आए प्रतिनिधिमंडल से मुलाक़ात में हालिया कटु घटना पर क़तर की संवेदना और हमदर्दी का शुक्रिया अदा करते हुए दोनों मुल्कों के तरक़्क़ी की राह पर चलते रहने पर बल दिया।
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता सैयद अली ख़ामेनेई ने बुधवार की शाम ट्यूनीशिया के राष्ट्रपति क़ैस सईद और उनके साथ आए प्रतिनिधिमंडल से मुलाक़ात में हालिया दुर्घटना के बारे में ट्यूनीशिया के राष्ट्रपति के बंधुत्व के जज़्बात का शुक्रिया अदा करते हुए कहा कि राष्ट्रपति और उनके साथ कई बड़े अधिकारियों को खो देने की घटना बहुत कठिन है लेकिन राष्ट्रपति काल के दौरान हमने इस बात को देखा है कि अल्लाह की हिकमत की बुनियाद पर और अवाम के सब्र व दृढ़ता से कड़वी घटनाएं तरक़्क़ी और कामयाबी का आधार बनी हैं।
इस्लामी क्रांति के वरिष्ठ नेता को चुनने वाली सभा "विशेषज्ञ असेंबली" का छठा दौर कुछ देर पहले इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा सैयद अली ख़ामेनेई के पैग़ाम के साथ शुरू हुआ।
ग़ज़ा में ज़ायोनियों के हाथों जातीय सफ़ाए और लिब्रल सरकारों द्वारा उसके समर्थन की तरफ़ इशारा करते हुए इमाम ख़ामेनेई:
इस्लामी इंक़ेलाब के वरिष्ठ नेता का चयन करने वाली विशेषज्ञ असेंबली का छठा दौर 21 मई 2024 को इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई के पैग़ाम के साथ शुरू हुआ। इस पैग़ाम को उनके दफ़्तर के प्रमुख हुज्जतुल इस्लाम वल मुस्लेमीन मोहम्मदी गुलपायगानी ने विशेषज्ञ असेंबली में पढ़ा। पैग़ाम इस तरह हैः
मैं यह कहना चाहता हूं ऐ इमाम अली बिन मूसा रज़ा यह मेरा दिल, आपका है। मैं आपसे कुछ चीज़ें मांगता हूं। लेकिन मैं ख़ुद क्या देना चाहता हूं ताकि मेरे काम की वो गिरहें खुल जाएं। वह चीज़ जो मैं आपके पास रखना चाहता हूं, वह मेरा दिल है।
इस्लामी इंक़ेलाब के नेता आयतुल्लाहिल उज़मा ख़ामेनेई और हुज्जतुल इस्लाम वलमुस्लेमीन मरहूम रईसी इमाम रज़ा अलैहिस्सालम की ज़रीह में मुक़द्दस क़ब्र की सफ़ाई की ख़िदमत करते हुए।
इमाम रज़ा अलैहिस्सलाम ने मामून का उत्तराधिकारी बनने को क़ुबूल करके एक ऐसा कारनामा अंजाम दिया जो इमामों की ज़िंदगी में बेमिसाल था और वह करनामा इस्लामी जगत के स्तर पर शिया इमामत के दावे सार्वजनिक तौर पर बयान करना, तक़य्ये के पर्दे को उठा देना और शियों के पैग़ाम को सभी मुसलमानों के कानों तक पहुंचा देना था। इस बारे में इस्लामी इंक़ेलाब के नेता के बयानों के संदर्भ में एक लेख पेश है।